Monday, January 4, 2016

रोजगार के अवसर


देखने में आता है कि हर कोई अपने जीवन में कुछ न कुछ खास करना चाहता है। लेकिन उसे पाने के लिए कोई खास प्रयास नहीं होता। यही वजह है कि हमारे सपने पूरे नहीं हो पाते। उसपर हम अपने सपनों और भगवान को कोसा करते हैं कि उसने हमारे साथ ठीक नहीं किया।
जरा सोचने की बात है कि यदि हम प्रयास ही नहीं करेंगे तो हमारे सपने कैसे पूरे हांेगे। खाली सपने देखने वालों की भी संख्या कम नहीं है। वे सिर्फ सपने ही देखा करते हैं। लेकिन उन्हें कैसे पूरा किया जाए इस बाबत कोई सकारात्मक कदम नहीं उठाते।
हमारे देश में यदि बेरोजगारी उसपर भी शिक्षित बेरोजगारों की संख्या कम होने की बजाए बढ़ी हैं। जिसका परिणाम है कि हमारे पढ़े लिखे बच्चे गांव देहात में बस बैठे बैठे दिन काट रहे हैं। उन्हें काम करने के अवसर नहीं मिलते। घर बैठे क्या करें तो चोरी चमारी या गैर सामाजिक कामों मंे लग जाते हैं। हमारी जिम्मेदारी बनती है कि हम अपने बेरोजगार बच्चों को काम और रोजगार के अवसर मुहैया कराएं।

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