शाह रुख खान के मामले को पुरे देश की मीडिया ने हाथो हाथ लिया। इधर देश के एतिहासिक प्राचीर से प्रधानमंत्री झंडा फहरा रहे थे उसी समाये भारतीये मीडिया को इक तीखी स्टोरी हाथ लगी वह थी अमेरिका के नेव्वार्क एअरपोर्ट पर शाह रुख खान साहब के रोक लिए जाने की घटना थी। भारतीये मीडिया में चल रही ख़बर पर सुचना मंत्री अम्बिका सोनी ने बयां भी दे दिया की जैसे को तैसे की तर्ज पर भारत में भी अमरीकी के साथ बर्ताव करना चाहिए। तब अपमान की पीडा महसूस होगी।
अभी तब यह मामला थमा नही है। तमाम समाचार पत्र सम्पद्किये तक लिखा सब के स्वर इक से है। लेकिन इक तर्क पड़ व् सुन कर हैरानी होती है, यह पहली बार किसे भारतीये के साथ नही हुवा और फिर लगातार इक के बाद इक घटनायों के बेव्रे दिए गए। फलना फलना के साथ भी हुवा है यह कोई नै बात नही। ज़रा सोचने वाली बात है के जहाँ के प्रेजिडेंट के साथ ज़लालत सहनी पड़ी हो क्या यह भी चलता है वाली धरे पर मान लिया जाए॥
यह एक ऐसा मंच है जहां आप उपेक्षित शिक्षा, बच्चे और शिक्षा को केंद्र में देख-पढ़ सकते हैं। अपनी राय बेधड़ यहां साझा कर सकते हैं। बेहिचक, बेधड़क।
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शिक्षकीय दुनिया की कहानी के पात्र
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bat hai to alfaz bhi honge yahin kahin, chalo dhundh layen, gum ho gaya jo bhid me. chand hasi ki gung, kho gai, kho gai vo khil khilati saf...
1 comment:
tab bhi shaahruukh sahab wahaan jaane ko taiyaar hain
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